भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से निर्देश दिये हैं कि प्रदेश में सूखे की स्थिति की पूरी रिपोर्ट तैयार की जाये। किसानों को सिंचाई के नाम पर आने वाली समस्या को दूर करने के लिये भी रणनीति बनाई जाये। पूरी तैयारी के साथ 13 सितम्बर को सभी अधिकारी उपस्थित हों और उन्हें जानकारी दें।
किसानों को दस घंटे बिजली
पटवारी और राजस्व निरीक्षकों सहित अन्य संबंधित विभागों के अफसरों को तैनात किया जाये। सीएम के पूछने पर प्रमुख सचिव ऊर्जा केसरी ने बताया कि प्रदेशभर में सिंचाई के लिये किसानों को दस घंटे बिजली दी जा रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि बिजली की कमी नहीं आने दी जाये। बैठक में मुख्य सचिव अंटोनी डिसा, कृषि उत्पादन आयुक्त एपी श्रीवास्तव, प्रमुख सचिव सहकारिता सहित अन्य संबंधित विभागों के अधिकारी मौजूद थे।
राहत आयुक्त की रिपोर्ट
राहत आयुक्त की रिपोर्ट में कहा गया है कि प्रदेश में 15 जिले ऐसे हैं जिसमें 20 से 59 प्रतिशत तक कम बारिश हुई है। इन जिलों में महाकौशल, विन्ध्य, बुंदेलखंड और चंबल संभाग के जिले सूखे की चपेट में हैं। जिन जिलों में 59 प्रतिशत से कम बारिश हुई है, उनमें जबलपुर, कटनी, बालाघाट, सागर, दमोह, पन्ना, टीकमगढ़, छतरपुर, रीवा, सीधी, शहडोल, अनूपपुर, मुरैना, श्योपुर और भिंड शामिल हैं।
एक शहर में ज्यादा तो दूसरे में कम
इस साल हुई बारिश में एक खास बात यह भी है एक जिले में सामान्य वर्षा हुई है तो उसके पड़ोसी जिले में 59 फीसदी कम बारिश हुई है। मसलन विन्ध्य क्षेत्र के सतना, सिंगरौली और उमरिया को लें तो यहां सामान्य बारिश हुई है जबकि इनसे सटे रीवा, सीधी, शहडोल, अनूपपुर सूखे की चपेट में आने की स्थिति में हैं। इसी तरह चम्बल-ग्वालियर संभाग में ग्वालियर, दतिया, शिवपुरी, अशोकनगर, गुना में बारिश ठीक हुई है जबकि भिंड, श्योपुर, मुरैना सूखे की आहट से जूझ रहे हैं। महाकौशल में छिंदवाड़ा, सिवनी, मंडला, डिंडौरी, नरसिंहपुर में अच्छी बारिश हुई है और जबलपुर, कटनी, बालाघाट में कम पानी गिरा है।
यहां 20 फीसदी कम बारिश
प्रदेश के 25 जिले ऐसे हैं जहां 20 प्रतिशत से कम बारिश हुई है और उन्हें सामान्य वर्षा वाले जिलों में माना जा रहा है। ये जिले छिंदवाड़ा, सिवनी, मंडला, डिंडौरी, नरसिंहपुर, सतना, सिंगरौली, उमरिया, झाबुआ, अलीराजपुर, खरगौन, बड़वानी, बुरहानपुर, हैं। इनके साथ ही नीमच, ग्वालियर, शिवपुरी, अशोकनगर, दतिया, भोपाल, सीहोर, रायसेन, विदिशा, होशंगाबाद, हरदा और बैतूल भी सामान्य वर्षा वाले जिलों में शामिल किए गए हैं। दूसरी ओर 11 जिलों में सामान्य से अधिक वर्षा दर्ज की गई हैं। इन जिलों में धार, इंदौर, खंडवा, उज्जैन, मंदसौर, रतलाम, देवास, शाजापुर, आगर, गुना, राजगढ़ शामिल हैं।
सोयाबीन में लग चुकी है इल्ली
सूखे और अतिवृष्टि का असर प्रदेश में एक माह पहले सामने आ चुका है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने प्रदेश के 12 जिलों में सोयाबीन में इल्ली लगने की घटना को गंभीरता से लिया था। इसके साथ ही सभी कृषि अधिकारियों को निर्देशित किया गया था कि वे अपने क्षेत्र में जाकर किसानों को इल्ली से बचाव के तरीके बताएं। साथ ही इल्ली नष्ट करने वाली दवाएं भी दें। यह भी बताएं कि कौन सी इल्ली लगी है जिसके कारण सोयाबीन की फसल पर असर पड़ रहा है।
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