नगरीय निकाय चुनाव के दौरान भाजपा और कांग्रेस के नेता बागियों को मनाने और वोट के लिए नेताओं को पार्टी में शामिल करने में जोर शोर से जुटे हैं। सोमवार को छिंदवाड़ा में भाजपा के महापौर पद के प्रत्याशी अनंत धुर्वे के खिलाफ बगावत कर निर्दलीय चुनाव मैदान में जितेंद्र शाह ने पार्टी के अधिकृत प्रत्याशी का समर्थन करने का फैसला किया है वहीं दूसरी ओर सतना नगर निगम क्षेत्र में हुई कांग्रेस की सभा के दौरान पूर्व महापौर पुष्कर सिंह तोमर ने कांग्रेस का हाथ थाम लिया है। पुष्कर सिंह तोमर पूर्व में बसपा से महापौर निर्वाचित रह चुके हैं।
पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ सोमवार को सतना पहुंचे थे जहां टाउन हॉल में उनकी सभा थी। इस सभा में पूर्व महापौर तोमर ने कांग्रेस का हाथ थामा। उनके साथ बसपा के पूर्व प्रदेश प्रभारी मनोज बारी ने भी कांग्रेस ज्वाइन की है। भाजपा नेताओं पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाते हुए कमलनाथ ने यहां कहा कि कांग्रेस की सरकार में संबल योजना बंद नहीं हुई थी बल्कि संबल योजना में हुए करप्शन की जांच कराई गई थी और उसके तरीके से संचालन की व्यवस्था की जा रही थी। भाजपा इस योजना को लेकर भ्रम फैला रही है। सभा में सतना के नेताओं ने दावा किया कि उनकी एकजुटता से इस बार सतना में कांग्रेस का महापौर बनेगा। हालांकि पार्टी के कई दिग्गज स्थानीय नेताओं की गैरमौजूदगी कांग्रेस में चर्चा का विषय बनी रही।
दूसरी ओर भाग भाजपा किसान मोर्चा छिंदवाड़ा के नेता जितेंद्र शाह जिन्होंने टिकट काटे जाने के विरोध में भाजपा के अधिकृत प्रत्याशी के खिलाफ नामांकन दाखिल किया था और पार्टी की समझाईश के बाद भी नामांकन वापस नहीं लिया था। उन्होंने अब पार्टी प्रत्याशी के समर्थन की बात कही है। इसके बाद छिंदवाड़ा में बीजेपी की राह आसान हो सकेगी।
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