भोपाल
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि प्रदेश में पंचायत सचिवों को 7वें वेतनमान का लाभ तत्काल प्रभाव से दिया जाएगा। पंचायत सचिवों को समयमान वेतनमान भी दिया जाएगा। सेवानिवृत्त होने पर एकमुश्त 3 लाख रुपये की राशि मिलेगी। पंचायत सचिव की असमय मृत्यु पर आश्रितों को अनुकंपा नियुक्ति दी जाएगी। ये सुनिश्चित करेंगे कि 1 तारीख को पंचायत सचिवों को वेतन मिल जाए।
सीएम चौहान ने राजधानी के लाल परेड मैदान में पंचायत सचिवों के सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि पीसीओ (पंचायत समन्वय अधिकारी) के पदों पर नियुक्ति के समय 50 प्रतिशत आरक्षण ग्राम पंचायत सचिवों को मिलेगा। साथ ही 5 लाख का दुर्घटना और स्वास्थ्य बीमा मिलेगा। नियमित कर्मचारी के समान पंचायत सचिवों को सभी सुविधाएं देने की प्रक्रिया प्रारंभ की जाएगी। उन्होंने कहा कि पंचायत सचिव, पंचायत कार्यालय के प्रभारी हैं और सरकार तथा ग्राम पंचायत के बीच सेतु का काम करते हैं। वह देश व प्रदेश की सरकार को गांव की सरकार से जोड़ने का काम करते हैं। पंचायत सचिव के भरोसे ही राज्य सरकार ने केंद्र और राज्य सरकार की अनेकों योजनाओं को आदर्श रूप से मध्यप्रदेश में क्रियान्वित किया है। पंचायत सचिवों ने हितग्राहीमूलक योजनाओं को जनता तक पहुंचाने के लिए अद्भुत काम किया है।
पंचायत सचिव लम्बे समय से कर रहे थे मांग, कई बार किए आंदोलन
मध्यप्रदेश के पंचायत सचिवों द्वारा लंबे समय से विभाग में संविलयन की मांग की जा रही थी। इस पर जरूर उन्हें कोई आश्वासन नहीं मिला है। इसके अलावा पंचायत सचिवों के छठवें वेतनमान की गणना में गड़बड़ी के कारण हजारों सचिवों को वरिष्ठता का लाभ नहीं मिल पाने की मांग की थी जिस पर भी कोई राहत नहीं मिली है। सचिव वर्ष 2018 से सातवां वेतनमान एरियर्स सहित मांग रहे थे पर सीएम की घोषणा में तत्काल प्रभाव से सातवां वेतनमान दिए जाने का ऐलान किया गया है। गौरतलब है कि पंचायत सचिव अपनी मांगों को लेकर कई बार महीनों तक काम बंद आंदोलन भी कर चुके हैं।
